नागरिकता कानून : जामा मस्जिद पर विरोध प्रदर्शन

शुक्रवार की नमाज और कुछ संगठनों द्वारा संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों का आह्वान करने के मद्देनजर राष्ट्रीय राजधानी के उत्तरपूर्वी जिले के कुछ क्षेत्रों में पुलिस ने फ्लैग मार्च किया. कुछ स्थानों पर भारी पुलिस बल भी तैनात किया गया है.

नागरिकता कानून : जामा मस्जिद पर विरोध प्रदर्शन

शुक्रवार की नमाज और कुछ संगठनों द्वारा संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों का आह्वान करने के मद्देनजर राष्ट्रीय राजधानी के उत्तरपूर्वी जिले के कुछ क्षेत्रों में पुलिस ने फ्लैग मार्च किया. कुछ स्थानों पर भारी पुलिस बल भी तैनात किया गया है. पुलिस ने बताया कि उत्तर पूर्वी दिल्ली के सीलमपुर, जाफराबाद, वेलकम और मुस्तफाबाद इलाकों में फ्लैग मार्च किया गया. इसके अलावा, उत्तर पूर्वी दिल्ली में कानून व्यवस्था को कायम करने के लिए नजदीकी जिलों से बुलाए गए पुलिस बल और अर्द्धसैनिक बलों की 15 कपंनियों को तैनात किया गया है.  हालात पर नजर रखने के लिए दिल्ली पुलिस ड्रोन की मदद भी ले रही है.  पुलिस की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक जामिया नगर, जामा मस्जिद और चाणक्यपुरी में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है. पुलिस उपायुक्त (उत्तरपूर्व) वेद प्रकाश सूर्य ने कहा, ‘‘इलाके में कानून-व्यवस्था बनी रहे, यह सुनिश्चित करने के लिए हम अमन समिति के सदस्यों के साथ उत्तरपूर्वी दिल्ली में फ्लैग मार्च कर रहे हैं.  उधर दिल्ली की जामा मस्जिद में जुमे की नमाज के बाद प्रदर्शन हुआ. 

शांति बनाए रखने में पुलिस की मदद करने की अपील भी लोगों से की जा रही है.'' जिले में हिंसक प्रदर्शन के बाद से दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 144 लगी हुई है. दिल्ली पुलिस ने यहां बैनर लगाए हैं, जिनमें लोगों से कहा है कि निषेधाज्ञा लगी होने के कारण वह उत्तर प्रदेश भवन के बाहर प्रदर्शन न करें. खबरों के मुताबिक जामिया समन्वय समिति ने शुक्रवार दोपहर यूपी भवन के बाहर प्रदर्शन करने की योजना बनाई है. इसलिए यहां पुलिस बल तैनात किया गया है और अवरोधक लगा दिए गए हैं. 

पुलिस ने बताया कि उत्तर प्रदेश भवन के बाहर प्रदर्शन कर रहे 213 लोगों को हिरासत में लिया गया था. शुक्रवार की नमाज के बाद जामा मस्जिद के बाहर भी प्रदर्शन की योजना है. एक अन्य समूह ने जोर बाग के निकट दरगाह शाह मर्दान के निकट से प्रधानमंत्री के आवास तक प्रदर्शन मार्च निकालने का आह्वान किया है. उनकी मांग है कि भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद को बिना शर्त रिहा किया जाए और सीएए, एनआरसी तथा एनपीआर को वापस लिया जाए.